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दो दिन और ख्वाबों में रह लें झामुमो, फिर इतिहास के पन्नों में होंगे - प्रतुल शाह देव

21 नव. 2024

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TVT NEWS DESK

रांची ( RANCHI) : झामुमो के 59 सीटों पर जीत और 22 सीटों पर अनिर्णय की स्थिति के दावों पर भाजपा ने तंज कसा है. भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव ने झारखंड मुक्ति मोर्चा के केंद्रीय महासचिव और प्रवक्ता के प्रेस वार्ता पर पलटवार करते हुए कहा कि 23 नवंबर की शाम जब तक परिणाम नहीं आते तब तक झारखंड मुक्ति मोर्चा ख्वाबों की दुनिया में रह सकती है. प्रतुल ने कहा यह कुछ भी दावे कर ले, छाती ठोक ले. लेकिन चुनाव परिणाम आने के बाद यह हार का ठीकरा ईवीएम पर फोड़ने की तैयारी में है.

 

ज्यादातर कांग्रेस की सीटों पर ही अनिर्णय की स्थिति का दावा

प्रतुल ने कहा यह पहली बार हुआ है कि कोई दल दस्तावेज जारी करके यह बता रहा है कि कितने सीटों पर वह जीत दर्ज करेगी और प्रतिद्वंद्वी कितने सीट पर हारने वाले हैं. प्रतुल ने कहा कि हास्यास्पद बात है कि इस दस्तावेज में भी जहां भी झामुमो कड़ा मुकाबला दिखा रहे हैं, वह सभी कांग्रेस के हिस्से वाली सीटें हैं. यानी उन्हें अपने गठबंधन पर ही विश्वास नहीं.

 

जनता ने हेमंत सरकार को खारिज किया

 

प्रतुल ने कहा कि भले ही वह कागजों में जीत का बड़ा दावा कर रहे हो. लेकिन हकीकत में झारखंड की जनता ने झारखंड के इतिहास की सबसे भ्रष्ट हेमंत सरकार को पूरे तरीके से खारिज कर दिया है. इस सरकार ने सिर्फ लूट ,खसोट और भ्रष्टाचार का पिछले 5 वर्षों में कार्य किया. भ्रष्टाचार ने शिष्टाचार बनाकर संस्थागत रूप ले लिया. जनता पूरे तरीके से इनकी वादा खिलाफी से ऊब चुकी थी. 23 नवंबर को इनको बाहर का रास्ता दिखाने जा रही है.प्रतुल ने कहा यह कागजों पर जीत का दावा कर रहे हैं. जमीनी हकीकत है कि जनता ने पूरे तरीके से गठबंधन को बाहर का रास्ता दिखा दिया है. कोल्हान और संतालपरगना प्रमंडल जिसे यह अपना गढ़ मानते थे, वहां भी उनकी करारी हार होने वाली है.

 

अपने इतिहास में सबसे कम सीटों पर सिमेटेगी झामुमो

भारतीय जनता पार्टी कई उन सीटों पर भी जीत दर्ज करने जा रही है जहां उसने आजादी के बाद कभी जीत दर्ज नहीं की. बीजेपी के पक्ष में जबरदस्त माहौल था और सत्ताधारी दल को उखाड़ फेंकने का लोगों में संकल्प था. इसकी परिणीति 23 नवंबर को दिखेगी जब एनडीए गठबंधन दो तिहाई बहुमत से जीतेगा. झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेतृत्व वाला गठबंधन अपने इतिहास की सबसे कम सीटों पर सिमट जाएगी.

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